बिहार के इन जिलों को नई कनेक्टिविटी देगा नया एक्सप्रेसवे, यह रहेगा पूरा रूट
Amas Darbhanga Expressway: आमस दरभंगा एक्सप्रेसवे, बिहार के विकास के लिए एक महत्वपूर्ण परियोजना है, जो भारतमाला परियोजना के तहत स्वीकृत है। यह 189 किलोमीटर लंबा एक्सप्रेसवे, बिहार के सड़क बुनियादी ढांचे को पूरी तरह से बदलने की क्षमता रखता है और राज्य के उत्तरी और दक्षिणी क्षेत्रों को जोड़ने का काम करेगा। यह एक ग्रीनफील्ड एक्सप्रेसवे होगा, जो छह लेन वाला और पूरी तरह से एक्सेस-कंट्रोल्ड होगा।
यह एक्सप्रेसवे आमस (गया) से शुरू होकर दरभंगा जिले के बेला नवादा तक जाएगा और सात जिलों से होकर गुजरेगा। इसे 2024 में उद्घाटन के लिए तैयार किया जा रहा है और यह बिहार की प्रमुख शहरों जैसे गया, पटना, और दरभंगा को जोड़ने वाला एक महत्वपूर्ण मार्ग बनेगा।
आमस दरभंगा एक्सप्रेसवे के प्रमुख फायदे
आमस दरभंगा एक्सप्रेसवे से दुर्घटनाओं की संभावना में कमी आएगी क्योंकि यह एक उच्च गुणवत्ता वाला एक्सेस-कंट्रोल्ड मार्ग होगा। एक्सप्रेसवे के बनने से व्यापारिक गतिविधियों में वृद्धि होगी और स्थानीय स्तर पर रोजगार के नए अवसर पैदा होंगे। यात्रा का समय 4 घंटे तक कम हो जाएगा, जिससे यात्रियों को और व्यापारियों को समय की बचत होगी। यह एक्सप्रेसवे बिहार के प्रमुख शहरों को जोड़ने के साथ-साथ उत्तर और दक्षिण बिहार के बीच संपर्क बढ़ाएगा।
आमस दरभंगा एक्सप्रेसवे के मार्ग पर प्रमुख शहर और गांव
आमस
मथुरापुर
गुरारू
पंचानपुर
बेला
इब्राहिमपुर
ओकरी
पभेरा
रामनगर
सबलपुर
चकसिकंदर
दभैच
बहुआरा
शाहपुर बघौनी
शिव नंदनपुर
बासुदेवपुर रामनगर
बेला नवादा
परियोजना की लागत और भूमि अधिग्रहण
आमस दरभंगा एक्सप्रेसवे के लिए लगभग 1300 एकड़ भूमि का अधिग्रहण किया गया है, जिसमें 56 गांवों की भूमि शामिल है। यह परियोजना बिहार के विकास के लिए एक गेम चेंजर साबित हो सकती है, क्योंकि यह राज्य के सड़क परिवहन नेटवर्क को आधुनिक बनाएगी और राज्य के आर्थिक विकास को गति देगी।
2025 तक परियोजना का पूरा होना
इस परियोजना का उद्देश्य 2025 तक इसे पूरी तरह से समाप्त करना है, हालांकि यह भूमि अधिग्रहण, पर्यावरणीय मुद्दों और अन्य समस्याओं पर निर्भर करेगा। अगर यह परियोजना समय पर पूरी होती है, तो यह बिहार की अर्थव्यवस्था में बड़ा योगदान देगी और राज्य के नागरिकों के लिए नई संभावनाएं खोलेगी।