हरियाणा में इस दिन खत्म होगी हाउसिंग स्कीम, सीएम सैनी ने दे दी मंजूरी, जानिए आगे क्या होगा

Haryana Housing Scheme: हरियाणा में सरकार ने बड़ा फैसला लेते हुए हाउसिंग बोर्ड (Housing Board) को खत्म करने का ऐलान कर दिया है। सीएम नायब सिंह सैनी ने इस पर मुहर लगाते हुए कहा कि अब इस बोर्ड की ज़रूरत नहीं रही इसलिए इसे हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण (HSVP) में मर्ज किया जाएगा।
1 अप्रैल 2025 से हाउसिंग बोर्ड का अस्तित्व समाप्त हो जाएगा। अब सवाल उठता है कि इससे आम जनता पर क्या असर पड़ेगा और हाउसिंग बोर्ड के कर्मचारियों का क्या होगा? चलिए इस पूरे मसले को देसी अंदाज में समझते हैं!
हाउसिंग बोर्ड का सफर खत्म
हरियाणा में हाउसिंग बोर्ड की नींव 1971 में रखी गई थी जब तत्कालीन सीएम चौधरी बंसी लाल ने इसे बनाया था। उस दौर में यह गरीब और मध्यमवर्गीय परिवारों के लिए सस्ते मकान (Affordable Housing) उपलब्ध कराने का एक बड़ा जरिया था।
लेकिन जैसे-जैसे वक्त बदला, रीयल एस्टेट (Real Estate) का खेल बढ़ा और सरकार की नई नीतियां आईं वैसे-वैसे इस बोर्ड की प्रासंगिकता कम होती चली गई। अब सीएम नायब सिंह सैनी ने इसे खत्म करने का ऐलान कर दिया है।
सरकार का क्या प्लान?
अब सवाल उठता है कि हाउसिंग बोर्ड के जो कर्मचारी थे उनकी नौकरी का क्या होगा? सरकार ने इस बारे में पहले से तैयारी कर ली है। एक कमेटी का गठन किया गया है जो इस पर निर्णय लेगी कि कर्मचारियों को HSVP में समायोजित किया जाएगा या फिर किसी अन्य विभाग में।
आवास विभाग के आयुक्त एवं सचिव मोहम्मद शाईन ने टाउन एंड कंट्री प्लानिंग विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव एके सिंह को पत्र लिखा है जिसमें उन्होंने स्पष्ट किया कि बोर्ड का विलय (Merger) HSVP में होगा और कर्मचारियों को भी इसी सिस्टम में समायोजित करने की योजना बनाई जाएगी।
सरकार का कहना है कि इस बदलाव से अर्बन प्लानिंग (Urban Planning) और रीयल एस्टेट (Real Estate Development) में और सुधार होगा।
आम जनता पर क्या असर पड़ेगा?
अब बात आती है आम जनता की। अगर आपने हाउसिंग बोर्ड की स्कीम के तहत कोई प्रॉपर्टी ली है तो आपको चिंता करने की ज़रूरत नहीं है। आपकी प्रॉपर्टी अब सीधे हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण (HSVP) के तहत आ जाएगी जिससे रीसेल (Resale), ट्रांसफर और अलॉटमेंट (Allotment) जैसी प्रक्रियाओं में और भी पारदर्शिता आएगी।